नई दिल्ली। एक गलती कितनी भारी पड़ सकती है उसका बेहतरीन उदाहरण पर्थ टेस्ट है. इस मैच में ऋषभ पंत से हुई एक चूक टीम इंडिया को भारी पड़ी है. क्...
नई दिल्ली। एक गलती कितनी भारी पड़ सकती है उसका बेहतरीन उदाहरण पर्थ टेस्ट है. इस मैच में ऋषभ पंत से हुई एक चूक टीम इंडिया को भारी पड़ी है. क्योंकि ऑस्ट्रेलिया ने उसका फायदा उठाया है और टीम इंडिया पर उसके चलते 25 रन का जुर्माना लगा है. भारतीय गेंदबाजों ने एक के बाद एक ऑस्ट्रेलिया के 9 विकेट तो गिरा दिए. लेकिन जो काम पंत से हुई चूक का फायदा उठाकर स्टार्क और हेजलवुड की आखिरी जोड़ी ने किया, उसने ऑस्ट्रेलिया को मैच में वापसी की ओर लाने का काम किया है. अब डर है कि कहीं यही पर्थ टेस्ट में टीम इंडिया की हार की वजह ना बन जाए.
पर्थ टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया के 9 विकेट 79 रन पर गिर गए थे. लेकिन, उसके बाद जॉश हेजलवुड ने मिचेल स्टार्क के साथ मिलकर ऑस्ट्रेलिया के स्कोर बोर्ड में आखिरी विकेट के लिए 25 रन जोड़ दिए. यही 25 रन टीम इंडिया पर लगे जुर्माने की तरह रहे. ऐसा इसलिए क्योंकि पंत ने अगर हेजलवुड का कैच पकड़ लिया होता तो ऑस्ट्रेलिया के आखिरी विकेट के बीच 25 रन की साझेदारी तो कम से कम नहीं होती.
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दूसरे दिन के खेल में ऋषभ पंत ने बुमराह की गेंद पर हेजलवुड का कैच छोड़ दिया था. हेजलवुड ने बेशक कोई बड़ा स्कोर नहीं बनाया. वो आखिर तक नाबाद रहकर भी सिर्फ 7 रन ही बना सके. लेकिन, उन्होंने स्टार्क के साथ 120 गेंदों में 25 रन जो जोड़े हैं, वो टीम इंडिया को घाव देने का काम कर सकते हैं.
इससे पहले पर्थ टेस्ट में भारत के पास ऑस्ट्रेलिया को अपने खिलाफ टेस्ट में सबसे कम स्कोर पर ऑल आउट करने का मौका था. लेकिन पर्थ के हेडलवुड का कैच ड्रॉप करने के बाद वो मौका भी चूक गया. भारत के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया का सबसे छोटा टेस्ट स्कोर 83 रन का था, जो उसने 1981 में बनाया था. भारत ने पर्थ टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया को 104 रन पर ऑल आउट कर पहली पारी में 46 रन की बढ़त ली है.
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